मैं चैतन्य- 14 साल का हूँ | मुझे कार्टून बनाना और कोडिंग करना बहुत पसंद है | मैं क्लास X में पढ़ता हूँ | यह ब्लॉग 12 साल पहले मेरी माँ डॉ. मोनिका शर्मा ने बनाया था । अब मैं खुद अपने पोस्ट मेरे इस ब्लॉग पर शेयर करता हूँ ।
मेरी इस बुक में पहले से कई चित्र बने हुए हैं | बस उनमे रंग भरना होता है | इसलिए यह मेरे लिए बहुत आसान है | मुझे इन चित्रों में रंग भरने में बड़ा अच्छा लग रहा है और मैं अच्छे से ब्रश चलाना सीख रहा हूँ |
हाँ इस काम में मज़ा तो बहुत आता है...कभी किसी समय मैं भी खूब पेंटिंग करता था...पर अब तो शायद दस-बारह साल हो गए ब्रश को हाथ में लिए... चैतन्य आप इसी प्रकार अपने जीवन में भी रंग भरते रहो...
चैतन्य जी, कुछ सवाल पूछूँ ? यदि सूरज की रोशनी में हरे रंग की कोई वस्तु देर तक रहे ... तो वह पीली क्यों हो जाती है? और यदि सूरज की रोशनी में पीले रंग की कोई वस्तु देर तक रहे ... तो वह काली क्यों हो जाती है? और यदि काली वस्तु का रंग उड़ता है ... तो वह सफ़ेद क्यों हो जाता है? प्रकृति तो रंग-परिवर्तन का खेल खेलती रहती है .. आप गर्मियों की छुट्टियों में कौन-कौन से खेल खेल रहे हो? बताओ तो.. या मम्मी केवल ब्लॉग की सजावट के लिये आपसे बाल-मजदूरी करवाती रहती हैं. :) [चैतन्य के बहाने से ... ]
आपकी उम्दा प्रस्तुति कल शनिवार (04.06.2011) को "चर्चा मंच" पर प्रस्तुत की गयी है।आप आये और आकर अपने विचारों से हमे अवगत कराये......"ॐ साई राम" at http://charchamanch.blogspot.com/ चर्चाकार:-Er. सत्यम शिवम (शनिवासरीय चर्चा) स्पेशल काव्यमयी चर्चाः-“चाहत” (आरती झा)
अकेले पड़ रहे कितने बंटी
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हाल ही में हिंदी साहित्य की प्रसिद्ध लेखिका मन्नू भंडारी का निधन हो गया |
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ज्...
28 comments:
इसी तरह जीवन में नित नये रंग भरो!! शुभकामनाएँ
kafi kushal kalakar lag rahe ho chaitnya aap.ye kam karne me aanand hi bahut aata hai lage raho.
बहुत सुन्दर चैतन्य जी लगे रहो | धन्यवाद|
अरे वाह.... आपने तो बड़ी ख़ूबसूरती के साथ रंग भरे हैं...
बहुत बढ़िया चैतन्य!
आपके ड्राईंग ने तो मेरा मन मोह लिया !
बहुत सुंदर है भाई ....आपकी यह कला भी ...आनंद आ गया ..!
कभी अपने द्वारा बनाए गए चित्रों में भी रंग भरना!
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तब इससे भी ज़्यादा आनंद आएगा!
प्रिय चैतन्य वाह... बधाई .
चैतन्य जी बड़े अच्छे कलाकार हो जी !अति सुन्दर चित्रकारी !
bahut achchhe rang bhare hain .badhai .
हाँ इस काम में मज़ा तो बहुत आता है...कभी किसी समय मैं भी खूब पेंटिंग करता था...पर अब तो शायद दस-बारह साल हो गए ब्रश को हाथ में लिए...
चैतन्य आप इसी प्रकार अपने जीवन में भी रंग भरते रहो...
चैतन्य जी, कुछ सवाल पूछूँ ?
यदि सूरज की रोशनी में हरे रंग की कोई वस्तु देर तक रहे ... तो वह पीली क्यों हो जाती है?
और यदि सूरज की रोशनी में पीले रंग की कोई वस्तु देर तक रहे ... तो वह काली क्यों हो जाती है?
और यदि काली वस्तु का रंग उड़ता है ... तो वह सफ़ेद क्यों हो जाता है?
प्रकृति तो रंग-परिवर्तन का खेल खेलती रहती है .. आप गर्मियों की छुट्टियों में कौन-कौन से खेल खेल रहे हो? बताओ तो.. या मम्मी केवल ब्लॉग की सजावट के लिये आपसे बाल-मजदूरी करवाती रहती हैं. :)
[चैतन्य के बहाने से ... ]
प्रिय चैतन्य वाह
अच्छी है और बनाओ
chiatanya bahut sunder colouring ki hai
keep it up.....................
may god bless u
अले अले यह तो बहोत बोत सुंदर लगा जी. बहुत सा प्यार
हम पहले ही कहते थे कि आप बड़े कलाकार हैं।
बहुत ही सुन्दर और प्यारी-प्यारी ड्राईंग बनाते हो……….चैतन्य
बहुत सुन्दर ...
अरे वाह चैतन्य जी क्या टोपी वाले और ये जादू की छड़ी है क्या ? खूब पक्का रंग भरना बाद में मेरी भी फोटो बनाना -
शुभ कामनाएं
शुक्ल भ्रमर ५
http://shayaridays.blogspot.com
Bahut bdhiya.......lage raho 'Babuaa'........
आपकी उम्दा प्रस्तुति कल शनिवार (04.06.2011) को "चर्चा मंच" पर प्रस्तुत की गयी है।आप आये और आकर अपने विचारों से हमे अवगत कराये......"ॐ साई राम" at http://charchamanch.blogspot.com/
चर्चाकार:-Er. सत्यम शिवम (शनिवासरीय चर्चा)
स्पेशल काव्यमयी चर्चाः-“चाहत” (आरती झा)
चैतन्य आपकी सभी आर्ट्स अच्छी और सुन्दर हैं.
मेरे ब्लाग पर शुभकामनाएं व्यक्त करने हेतु बहुत-बहुत धन्यवाद.
बहुत सुन्दर चित्र...शुभकामनायें..
आप सबके प्यारे कमेट्स के लिए थैंक यू........
purani yaadein taaza kar di...
i always enjoyed filling colors in my drawing book when i was in school
चैतन्यजी आपकी चित्रकारी भी आप ही की तरह प्यारी है......शुभकामनायें !!
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